कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम

  • एनएसएफडीसी द्वारा अनुसूचित जाति के लोगों के लिए रोजगार उन्मुख एनएसक्यूएफ (NSQF) अनुरूप कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रायोजित किए जाते हैं । कौशल विकास प्रशिक्षण के मामले में उम्मीदवारों के लिए आय का कोई मानदंड नहीं है ।
  • सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय, भारत सरकार ने वित्तीय वर्ष 2020-21 से, एक केंद्रीय क्षेत्र योजना, प्रधानमंत्री– दक्षता और कुशलता सम्पन्न हितग्राही (पीएम-दक्ष) योजना लागू की है । इस योजना का उद्देश्‍य समाज के हाशिए पर जीवनयापन कर रहे, अन्‍य लक्ष्‍य समूह के साथ, अनुसूचित जाति के 18 से 45 वर्ष की आयु के व्यक्तियों को कौशल प्रशिक्षण प्रदान करना है ।
  • योजना का मुख्य उद्देश्य लक्ष्य समूहों का कौशल विकास करना और उन्हें स्वरोजगार या वैतनिक-रोजगार योग्य बनाना है । इसके अलावा, लक्ष्य समूह से संबंधित ग्रामीण कारीगर, जो बाजार में बेहतर तकनीकों के आने के कारण हाशिये पर चले गए हैं, उन्हें भी प्रशिक्षित किया जाता है ताकि वे नई तकनीक/प्रक्रिया को अपना सकें और बेहतर जीवनयापन के लिए अपनी आय बढ़ा सकें ।
  • , पीएम-दक्ष योजना की कार्यान्वयन एजेंसियों में से एक है और तदनुसार, एनएसएफडीसी अनुसूचित जाति के व्यक्तियों के लिए एनएसक्यूएफ अनुरूप कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रायोजित कर रहा है । कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम, वार्षिक आधार पर सामाजिक न्‍याय और अधिकारिता मंत्रालय द्वारा चयनित प्रशिक्षण संस्थानों के माध्यम से कार्यान्वित किए जा रहे हैं ।
  • योजना के तहत चार प्रकार के कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम हैं :

(क) अप-स्किलिंग/री-स्किलिंग – सामान्‍यत: 35 से 60 घंटे/35 दिनों तक की अवधि तक ।

(ख) लघु अवधि प्रशिक्षण - सामान्‍यत: राष्ट्रीय व्यावसायिक मानकों (एनओएस) और योग्यता पैक (क्यूपी) में निर्धारित 200 से 300 घंटे/3 माह तक की अवधि तक ।

(ग) उद्यमिता विकास कार्यक्रम (ईडीपी) - सामान्‍यत: 90 घंटे/15 दिन की अवधि तक या ग्रामीण विकास मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा निर्धारित किया गया है ।

(घ) दीर्घावधि प्रशिक्षण - सामान्यत: 650 घंटे/7 माह तक की अवधि तक, जैसा कि प्रशिक्षण केंद्र के संबंधित बोर्ड/नियामक निकाय द्वारा निर्धारित किया गया है ।

  • कार्यक्रमों के तहत, प्रशिक्षुओं को नि:शुल्‍क प्रशिक्षण और प्रशिक्षण के बाद प्रति माह ₹1,500 की दर से स्‍टाइपेंड प्रदान किया जाता है, जो कि पूरे प्रशिक्षण अवधि के दौरान प्रशिक्षु की समग्र उपस्थिति 80% और उससे अधिक के अधीन है । सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय, भारत सरकार की सलाह के अनुसार और आधार (वित्तीय और अन्य सब्सिडी, लाभ और सेवाओं का लक्षित वितरण) अधिनियम, 2016 की धारा-7 के प्रावधान के तहत जारी राजपत्र अधिसूचना दिनांक 16.02.2017 के अनुसार स्‍टाइपेंड राशि प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटी) के माध्यम से प्रदान की जाती है ।
  • प्रशिक्षुओं के प्रशिक्षण एवं मूल्यांकन और प्रमाणन के सफल समापन पर उन्हें वैतनिक-रोजगार हेतु सहायता और/या राज्य चैनेलाइजिंग एजेंसियों/चैनल भागीदारों के माध्यम से एनएसएफडीसी से वित्तीय सहायता के साथ अपना उद्यम शुरू करने के लिए उद्यमशीलता मार्गदर्शन प्रदान किया जाता है ।
  • योजना के तहत कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम पीएम-दक्ष पोर्टल के माध्यम से कार्यान्वित किए जा रहे हैं ।
  • लक्ष्‍य समूह के, कौशल प्रशिक्षण लेने के इच्‍छुक युवा, पीएम दक्ष पोर्टल ‘pmdaksh.dosje.gov.in” या मोबाईल एप “PMDAKSH” जो कि गुगल प्‍ले स्‍टोर से डाउनलोड किया जा सकता है, पर अपनी उम्‍मीदवारी दर्ज कर सकते हैं ।

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पीएम दक्ष योजना के अंतर्गत कौशल विकास प्रशिक्षण दिशा-निर्देश (Guidelines) हेतु यहां क्लिक करें ।

 

संशोधित: Ratikanta Jena (ratikanta.jena@gov.in)
दिनांक: 16 May, 2023